** लॉक डाउन के बाद वाहन न चलने से लोगों को उठानी पड रही भारी मुसीबत
** चार सौ किलोमीटर तक चलना पड़ रहा पैदल
किशनी/मैनपुरी। देश की जनता को कोरोना के कहर से बचाने के लिये भारत सरकार द्वारा इक्कीस दिनों की ब्लॉकडाउन की घोषणा की गई है। बसें, रेल सेवा पूरी तरह से बंद है। इस कारण अपने घरों से बाहर रहकर काम करने बालों पर मुसीबत का पहाड टूट पडा है।
गुरूवार को कस्बे में बस स्टैंड पर करीब एक दर्जन लोग निकलतें हुए नजर आये। पूछने पर उन्होंने बताया कि वह लोग बरेली और शाहजहांपुर के रहने वाले हैं। वह ग्वालियर में अचार बेचने का धन्धा करते थे। प्रधानमंत्री की अचानक की गई घोषणा से वाहनों का आवागमन बंद होगया। उनके रहने के स्थान को उनसे खाली करा लिया गया। सर पर छत न रहने से तथा एक माह तक धन्धा न होने से वह खाते क्या। इसलिये उन्होंने पैदल ही ग्वालियर से बरेली जाने का कठिन निर्णय ले लिया। रास्ते में होटल व दुकानें बंद हैं। इसलिये उनके लिये भूखे पेट पैदल चलना भी मुश्किल हो रहा है। पर जान है तो जहान की आशा है वह पैदल चलना जारी रखेंगे और दो दिनों के बाद ही सही अपने अपने घरों तक पहुंच ही जायेंगे।
बरेली तक जाने बालों में धर्मपाल पुत्र मंगली, नरेश पुत्र राजाराम, नन्हैंलाल पुत्र एदलसिंह, जगदीश पुत्र मनचल तथा शाहजहांपुर जाने बालों में करन पुत्र महेश, सर्वेश पुत्र रामबहादुर, राजू पुत्र रामेश्वर, दीनू पुत्र छंगेलाल, कन्हईलाल पुत्र बेवाराम, मुरारालाल पुत्र मुकुट, अवनीश पुत्र कन्हईलाल आदि थे।